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Jaya Kishori Biography
कलयुग की मीरा के नाम से प्रसिद्ध है , राजस्थान की रहने वाली कथा वाचक जया किशोरी

आज के दौर में जहां लोगो के पास भगवान को देने के लिए एक मिनट का समय नहीं हैं। वही लोग सिर्फ और सिर्फ अपना सांसारिक सुख के लिए पैसे के पीछे भाग रहे हैं। लेकिन,आज हम आपको एक ऐसी महिला के बारे में बताएंगे। जिसने दिन रात सिर्फ भगवान की भक्ति में खुद को समर्पण कर रखा हैं। जिसके चर्चे आज कल हर सोशल मीडिया पर देखने को मिलते हैं।
आज हम जिनकी बात कर रहे है उनका नाम जया शर्मा (Jaya sharma) हैं जिन्हे आज के समय में लोग जया किशोरी ( Jaya kishori) के नाम से जानते हैं जो आज मोटिवेशनल स्पीकर के साथ कथावाचक भी हैं। जिनकी पहचान आज के समय में किसी की भी मोहताज नहीं हैं। जया किशोरी जिनका जन्म 13 अप्रैल 1995 में राजस्थान (Rajasthan) के छोटे से गांव सुजानगढ़ में एक ब्राह्मण परिवार में हुआ था।
इनके परिवार में इनके पिता शिव शंकर शर्मा (Shiv shankar sharma)। व इनकी माता गीता देवी (Geeta devi) और इनकी छोटी बहन चेतना ( chetna) जया किशोरी जिन्होंने छोटी उम्र में ही काफी धार्मिक चीजों को सीखना शुरू कर दिया। क्युकी जया किशोरी का कहना है की उनका पूरा परिवार काफी धार्मिक रहा है और उनके नाना–नानी व दादा–दादी सब को धार्मिक ग्रंथों को पढ़ना व भजन गाना काफी अच्छा लगता था।

बचपन से ही था भक्ति भाव में ध्यान
जया किशोरी ( Jaya kishori) जो आज एक मोटिवेशनल स्पीकर भी है और कथावाचक भी हैं। जो आज के समय में लोग को अपने स्पीच द्वारा उन्हे मोटिवेशन देती है वे उनकी स्पीच को सुनने के लिए ढेरों संख्या में लोग आते है। जिस उम्र में बच्चे सिर्फ खेलना–कूदना जानते है उस उम्र में जया किशोरी ने भजन को गाना वे भागवत कथा को सुनना शुरू कर दिया था। जिन्हे पढ़ाई करना पसंद तो था परंतु, पढ़ाई से ज्यादा ध्यान उनका हमेशा भजन गीत वे धार्मिक चीजों में रहता था। जया किशोरी जिन्होंने 12 की पढ़ाई के साथ श्री मत भागवत कथा को याद कर लिया था। वे अपनी प्राथमिक शिक्षा को ग्रहण कर उच्च शिक्षा (B.com) के साथ वेदों श्री मत भागवत गीता (Shri mat Bhagwat gita) , शास्त्रों की शिक्षा भी ली।
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घर का माहौल रहता था धार्मिक
अक्सर हम लोग ने देखा वे सुना हैं। की बच्चे अपने माता–पिता को देख कर ही उस कार्य में दिलचस्पी दिखाने लगते हैं। ठीक इसी तरह किशोरी जी का कहना है। की उन्होंने बचपन से ही अपने माता–पिता वे दादा– दादी को धार्मिक चीजों को सुनते वे बोलते हुए देखा। किशोरी जी कहती है। की उनके पिता का काम में ज्यादा दिलचस्पी ना होने के कारण उन्हें भजन गाना वे कीर्तन करना बेहद पसंद था। इसी तरह किशोरी जी को भी अपने माता–पिता को देख भजन, कीर्तन, जागरण वे श्री मत भागवत कथा को सुनना वे बोलना बेहद पसंद था।

करोड़ों लोगों के बीच बनाई अपनी पहचान
एक छोटी सी उम्र से भक्ति में इतना जुनून, जो आज कल किसी भी लड़की के अंदर देखने को नहीं मिलता। लेकिन, जया किशोरी जिन्होंने अपनी मोटिवेशन स्पीच वे अपनी कथाओं से लोगो के दिल को इतना आकर्षित किया। की आज हर सोशल मीडिया पे उनकी स्पीच का जिक्र होता हैं। आपको बता, दे की उनके सोशल मीडिया पे मिलियन्स में फॉलोअर्स है, जो उन्हे बेहद पसंद भी करते है वे उनके द्वारा गाए हुए भजन यूट्यूब जैसे कही सोशल मीडिया पर सुने जा सकते हैं।
कई पुरस्कारों से नवाजा गया
आज के युग में प्रसिद्ध मीरा कहलाने वाली। जया किशोरी ( Jaya kishori), जिन्होंने कई पुरस्कार को अपने नाम किया। जैसे– साल 2016 में आदर्श युवा आध्यात्मिक गुरु पुरस्कार , संस्कार चैनल द्वारा दिया गया पुरस्कार, साल 2019 में यूथ आइकन का पुरस्कार दिया गया, वे हाल ही में 2021 में मोटिवेशनल ऑफ द ईयर के पुरस्कार से सम्मानित किया गया।
किशोरी जी जो आज हर उस बच्चे के लिए प्रेरणा है, जिनकी लगन छोटी उम्र से ही भगवान में थी, क्युकी भगवान में लगन लगाने के लिए कोई भी इंसान को साधु या साध्वी बनने की आवश्यकता नहीं हैं। अगर दिल साफ हो तो लगन कही भी लगाई जा सकती है !
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